मध्‍यप्रदेश

दुनिया का सबसे गरीब परिवार MP में है ! साल की कमाई है सिर्फ दो रुपए

सागर
 यदि आपको दुनिया का सबसे गरीब आदमी देखना है तो मप्र के सागर जिले के बंडा तहसील चले आईए! यहां पर एक परिवार ऐसा है, जिसकी साल भर की कमाई महज 2 रुपए हैं। इसी से इनकी गुजर-बसर चलती है। हकीकत जो भी हो, लेकिन इस परिवार के पास बाकायदा प्रशासन द्वारा जारी आय प्रमाण पत्र मौजूद है। आय प्रमाण पत्र इनकी सालाना कमाई का सबूत भी है। आखिर क्या है यह माजरा आईए आपको हम समझाते हैं।

सागर जिले के बंडा का है मामला

दरअसल, सागर जिले के बंडा तहसील के एक परिवार का वीडियो और आय प्रमाण पत्र इन दिनों सोशल मीडिया में सुर्खियां बटोर रहा है। इस परिवार का दावा है कि उसके पास सालाना कमाई मात्र 2 रुपए का प्रमाण पत्र मौजूद है, जिसे खुद बंडा के तहसीलदार ने सील साइन कर जारी किया है।

जनवरी में जारी हुआ था प्रमाण पत्र

जब इस मामले में पड़ताल की तो पता चला कि वाकई इस परिवार को ऐसा आय प्रमाण पत्र जारी हो गया है, जिसमें परिवार की सालाना आय मात्र 2 रुपए अंकित की गई है। यह प्रमाण पत्र बीते जनवरी 2024 में जारी किया गया था।

घूघरा गांव के बलराम चढ़ार के नाम है प्रमाण पत्र

सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहे इस मामले में नवभारत टाइम्स.कॉम की पड़ताल में सामने आया कि 2 रुपए सालाना कमाई का प्रमाण पत्र सागर जिले की बंडा तहसील के घूघरा गांव निवासी बलराम चढ़ार के नाम से जारी किया गया है। उन्होंने आय प्रमाण पत्र के लिए ऑनलाइन आवेदन किया था। बीते जनवरी महीने में उन्हें यह प्रमाण पत्र जारी किया गया था।

40,000 की जगह दो रुपए भर दी

घूघरा गांव के बलराम ने बताया कि उन्होंने जब ऑनलाइन आवेदन किया था तो सालाना आय 40 हजार रुपए लिखवाई थी, लेकिन तहसील के बाबू ने गलती से इसे मात्र 2 रुपए अंकित कर दिया। मामले में तहसीलदार कार्यालय में किसी ने भी दस्तावेजों को ध्यान से नहीं पढ़ा और तत्कालीन तहसीलदार ज्ञानचंद राय ने तक ने आंख बंद कर हस्ताक्षकर कर ऑनलाइन आय प्रमाण पत्र जारी कर दिया। अब बलराम अपने प्रमाण पत्र में सुधार चाहते हैं, इसके लिए वे आवेदन भी कर रहे हैं।

आय-प्रमाण पत्र की जांच करा रहे हैं

बंडा तहसील के तहसीलदार महेंद्र सिंह चौहान ने स्थानीय मीडिया को जानकारी देते हुए बताया है कि घूघरा के बलराम चढ़ार को दो रुपए सालाना आय का प्रमाण पत्र वाला मेरे संज्ञान में आया है। मेरी पदस्थापना से पहले का यह मामला है। ऐसा प्रमाण पत्र कैसे जारी हो गया, इसकी जांच भी करा रहे हैं। संबंधित को सुधार कर नया संशोधित प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा।

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